सूडानी सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच झड़प, 25 लोगों की मौत, 183 घायल

    संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने कहा कि सूडान रैपिड सपोर्ट फोर्स और सूडानी सशस्त्र बलों के बीच हुई लड़ाई की निंदा करता हूं। दोनों बल अपनी दुश्मनी को तुरंत खत्म करें। महासचिव ने नेताओं से भी शांति बहाल करने की मांग की है।

    सूडान में शनिवार को सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच हुई झड़प में 25 लोगों की मौत हो गई है। जबकि, 183 लोग घायल हो गए हैं। मृतकों की संख्या बढ़ने की संभावना है।

    महासचिव ने की घटना की निंदा
    संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने कहा कि सूडान रैपिड सपोर्ट फोर्स और सूडानी सशस्त्र बलों के बीच हुई लड़ाई की निंदा करता हूं। दोनों बल अपनी दुश्मनी को तुरंत खत्म करें। महासचिव ने नेताओं से भी शांति बहाल करने की मांग की है। झड़प के कारण भारतीय दूतावास ने भी एहतियातन एक गाइडलाइन जारी की है। दूतावास ने कहा है कि सूडान आने की योजना बना रहे लोगों को अभी अपनी यात्रा कुछ दिन स्थगित कर देना चाहिए।

    सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो
    एक बड़े विदेशी अखबार की मानें तो दोनों बलों के बीच हुई हिंसा में शनिवार सुबह कई गोलियां चलीं, जिसमें विस्फोट भी हुए। संघर्ष के दौरान सूडानी सुडानी अर्धसैनिक बलों ने राष्ट्रपति महल पर नियंत्रण हासिल करने का दावा किया। सुडानी सोशल मीडिया में कई वीडियो सामने आए, जिसमें दावा किया गया कि हथियारबंद लड़ाके अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर गोलियां चला रहे हैं।

    आरएसएफ का दावा- पूरी तरह नियंत्रण में राष्ट्रपति भवन
    एक चीनी अखबार के अनुसार, आरएसएफ की ओर से जारी बयान में दावा किया गया है कि खार्तूम हवाई अड्डे पर नियंत्रण का दावा करने के बाद उसने राजधानी खार्तूम में राष्ट्रपति भवन को पूरी तरह से नियंत्रित कर लिया है। सेना ने अक्तूबर 2021 में तख्तापलट किया था। तब से वह संप्रभुता परिषद के जरिए देश को चलाया जा रहा है। आरएसएफ की कमान परिषद के उपाध्यक्ष जनरल मोहम्मद हमदान डागालो के पास है। जबकि, सेना का नेतृत्व जनरल अब्देल फतह अल-बुरहान कर रहे हैं, जो संप्रभु परिषद के प्रमुख हैं।

    आरएसएफ ने सेना के कई ठिकानों पर किया हमला: सेना
    समाचार एजेंसी एएफपी ने सेना के प्रवक्ता ब्रिगेडियर जनरल नबील अब्दल्लाह के हवाले से कहा, ‘रैपिड सपोर्ट फोर्सेज के लड़ाकों ने खार्तूम और सूडान के आसपास अन्य जगहों पर सेना के कई शिविरों पर हमला किया। झड़पें जारी हैं और सेना देश की सुरक्षा के लिए अपना कर्तव्य निभा रही है। रॉयटर्स समाचार एजेंसी भी प्रत्यक्षदर्शियों के हवाले से कह रही है कि उत्तरी शहर मेरोव में गोलीबारी हुई है। समाचार एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, अलाराबिया टीवी वहां एक सैन्य शिविर से उठते धुएं की तस्वीरें प्रसारित कर रहा है।

    अर्धसैनिक बल और सेना के बीच झड़पों की वजह
    सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच तनाव राष्ट्रपति उमर अल-बशीर के शासन के समय से हैं, लेकिन 2019 में उन्हें हटाकर दूर कर दिए गए थे। ताजा झड़पों की वजह यह है कि सूडानी सेना का मानना है कि आरएसएफ अर्द्धसैनिक बल के तहत आता है। उसे सेना में शामिल नहीं किया जाना चाहिए।

     

     

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