उत्तरी कश्मीर के बांडीपोरा में शुक्रवार को आतंकियों द्वारा घात लगाकर किए गए हमले में दो पुलिसकर्मी बलिदान हो गए। हमलावर आतंकियों को पकड़ने के लिए सुरक्षाबलों ने घटनास्थल और उसके साथ सटे इलाकों की घेराबंदी करते हुए तलाशी अभियान चलाया, लेेकिन उनका कोई सुराग नहीं मिला। हमले के लिए द रजिस्टेंस फ्रंट टीआरएफ या फिर इस्लामिक स्टेट जम्मू कश्मीर जिसे विलाया हिंद और हिंद प्राविंस भी कहते हैं, उसके आतंकियों को जिम्मेदार माना जा रहा है।
बांडीपोरा से मिली सूचनाओं के मुताबिक आज शाम करीब साढ़े चार बजे जम्मू कश्मीर पुलिस का एक दल बांडीपोरा के गुलशन चौक में नियमित गश्त पर था। अचानक एक गली में पहले से घात लगाकर बैठे आतंकियों ने पुलिस दल पर अपने स्वचालित हथियारों से ताबड़तोड़ गोलियां बरसाई। आतंकियों ने पुलिस वाहन काे भी निशाना बनाया। इससे पहले कि पुलिसकर्मी खुद को बचाते हुए जवाबी फायर करते दो पुलिसकर्मी जख्मी होकर वहीं जमीन पर गिर पड़े। अन्य पुलिसकर्मियों ने अपनी पोजीशन ली और जवाबी फायर किया।
उन्हाेंने आतंकी हमले के कारण चौक में मची अफरा-तफरी में आम लोगों की सुरक्षा को देखते हुए कुछ संयम बरता, आतंकियों ने इसका फायदा लिया और भाग निकले। हमले की सूचना मिलते ही निकटवर्ती इलाके में गश्त रहे सैन्यकर्मी और सीआरपीएफ के जवान भी मौके पर पहुंच गए। पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए। उन्होंने वहां घायल पड़े दोनों पुलिसकर्मियों को उपचार के लिए निकटवर्ती अस्पताल ले जाया गया,जहां डाक्टरों ने दोनों को बलिदानी करार दे दिया।
बलिदानी पुलिसकर्मियों की पहचान चालक सिलेक्शन ग्रेेड कांस्टेबल मोहम्मद सुल्तान निवासी मुकाम डांगरपोरा सोपाेर और कांस्टेबल फैयाज अहमद निवासी लालपाेरा, लोलाब के रूप में हुई है। संबधित पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जिस समय हमला हुआ, उस समय गुलशन चौक में भारी भीड़ थी। पुलिसकर्मी अगर जवाबी कार्रवाई में संयम न बरतते तो आतंकियों के साथ कई आम नागरिकों की जान भी जा सकती थी। आतंकियों को पकड़ने के लिए पूरे इलाके की की नाकेबंदी कर ली गई है और वह जल्द ही पकड़े जाएंगे या फिर मारे जाएंगे।